Columbus

WIPO एडवाइजरी बोर्ड की अध्यक्ष पद पर जस्टिस प्रतिभा एम. सिंह का हुआ चयन, जानें उनका पूरा प्रोफाइल

WIPO एडवाइजरी बोर्ड की अध्यक्ष पद पर जस्टिस प्रतिभा एम. सिंह का हुआ चयन, जानें उनका पूरा प्रोफाइल

जस्टिस प्रतिभा एम. सिंह को WIPO एडवाइजरी बोर्ड की अध्यक्ष बनाया गया। वे 2025-27 तक इस पद पर कार्य करेंगी। जस्टिस सिंह वैश्विक बौद्धिक संपदा मामलों में न्यायिक अनुभव और विशेषज्ञता लेकर बोर्ड का नेतृत्व करेंगी।

New Delhi: विश्व बौद्धिक संपदा संगठन (WIPO) ने 2025-2027 के लिए एडवाइजरी बोर्ड ऑफ जजेज की घोषणा की है। इस बोर्ड में विभिन्न देशों के 10 प्रतिष्ठित न्यायाधीश शामिल किए गए हैं। भारत की तरफ से दिल्ली हाईकोर्ट की जस्टिस प्रतिभा एम. सिंह को शामिल किया गया है। बोर्ड का नेतृत्व भी जस्टिस प्रतिभा एम. सिंह करेंगी, जो वैश्विक बौद्धिक संपदा मामलों में न्यायिक अनुभव और विशेषज्ञता लाएंगी।

जस्टिस प्रतिभा एम. सिंह का करियर

जस्टिस प्रतिभा एम. सिंह को 2017 में दिल्ली हाईकोर्ट के स्थायी जज के रूप में प्रमोट किया गया। उन्होंने 2021-22 सत्र में दिल्ली हाईकोर्ट के प्रथम बौद्धिक संपदा प्रभाग (IP Division) की अध्यक्षता और पीठासीन जज के रूप में कार्य किया। 1991 में बार में शामिल होने के बाद जस्टिस सिंह नियमित रूप से सुप्रीम कोर्ट, दिल्ली हाईकोर्ट, बौद्धिक संपदा अपीलीय बोर्ड और भारतीय पेटेंट दफ्तर के सामने केस पेश करती रही हैं।

बौद्धिक संपदा और एडवाइजरी कार्य

जस्टिस सिंह ने कॉपीराइट और पेटेंट दफ्तरों के कामकाज को बेहतर बनाने में महत्वपूर्ण योगदान दिया। उन्होंने संसदीय समितियों को बौद्धिक संपदा कानून में संशोधन पर सलाह दी। वर्तमान में वह विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) द्वारा गठित स्वास्थ्य में कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) पर विचार-विमर्श करने वाले नियामक कार्य समूह की सह-अध्यक्ष हैं।

जस्टिस प्रतिभा सिंह ने भारत की पहली पेटेंट कानून पर आधारित किताब "प्रतिभा एम. सिंह ऑन पेटेंट लॉ" लिखी। उन्हें मैनेजिंग आईपी के एशिया वीमेन इन बिज़नेस लॉ अवार्ड से नवाजा गया। 2021 और 2022 में उन्हें IP के 50 सबसे प्रभावशाली लोगों में शामिल किया गया।

जस्टिस प्रतिभा सिंह ने यूनिवर्सिटी लॉ कॉलेज, बैंगलोर से एलएलबी पूरी की। इसके बाद कैम्ब्रिज विश्वविद्यालय से एलएलएम की डिग्री हासिल की। 2013 में उन्होंने एलएलएम छात्रों के लिए प्रतिभा एम. सिंह छात्रवृत्ति की शुरुआत की, जो आज भी कई छात्रों को लाभ प्रदान कर रही है।

WIPO एडवाइजरी बोर्ड में अन्य सदस्य

जस्टिस प्रतिभा सिंह के साथ बोर्ड में लुइस एंटोनियो कैमार्गो वर्गारा (पनामा), डू वेइक (चीन), झानार डुइसेनोवा (कज़ाकिस्तान), मोहम्मद एल्जेंड (मिस्र), जीन-क्रिस्टोफ़ गेएट (फ्रांस), माइकल मैनसन (कनाडा), मुस्तफ़र मोहम्मद सियानी (तंजानिया), स्वास पापासव्वास (यूरोपीय संघ), और वू सुंग्योप (कोरिया) शामिल हैं। बोर्ड न्यायिक मार्गदर्शन और विविध न्यायिक प्रणालियों के अनुभव को WIPO के काम में जोड़ने का काम करता है।

बोर्ड की भूमिका

एडवाइजरी बोर्ड न्यायिक दृष्टिकोण से WIPO के काम को दिशा देता है। सदस्य अपनी व्यक्तिगत क्षमता में कार्य करते हैं और बौद्धिक संपदा मामलों में वैश्विक सहयोग को मजबूत करते हैं। यह बोर्ड नई नीतियों और प्रक्रियाओं को न्यायिक दृष्टिकोण से परखने का मंच प्रदान करता है।

Leave a comment