बिहार विधानसभा चुनाव 2025 में महिलाओं ने पुरुषों को पीछे छोड़ते हुए रिकॉर्ड मतदान किया। पंचायत आरक्षण, शिक्षा सुधार और सामाजिक जागरूकता ने महिलाओं की राजनीतिक सक्रियता बढ़ाई।
Bihar Assembly Election 2025: बिहार विधानसभा चुनाव 2025 में महिलाओं की मतदान (voting) भागीदारी लगातार बढ़ रही है। पिछले तीन विधानसभा चुनावों से यह रुझान साफ दिखाई दे रहा है। 2010 के बाद से महिला मतदाताओं का प्रतिशत पुरुषों की तुलना में 5 से 7 प्रतिशत अधिक रहा है। 1990 में महिला मतदाताओं ने पहली बार 50 प्रतिशत का आंकड़ा पार किया था, जो महिलाओं की राजनीतिक सक्रियता का संकेत है।
पिछले सालों में पंचायत चुनावों में 50 प्रतिशत आरक्षण, महिला शिक्षा में सुधार और सामाजिक जागरूकता ने महिलाओं को वोट डालने के लिए प्रेरित किया। इसके साथ ही आर्थिक और सामाजिक सुधार ने महिलाओं की भागीदारी को बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
चुनाव का इतिहास
1962 में सबसे कम महिलाओं ने मतदान किया था, केवल 32.47 प्रतिशत। 1977 के विधानसभा चुनाव में कुल मतदान 50.51 प्रतिशत था, जिसमें पुरुषों का मतदान 71.27 प्रतिशत और महिलाओं का केवल 38.32 प्रतिशत था। इसके बाद महिलाओं की भागीदारी लगातार बढ़ी और 1990 में यह 53.25 प्रतिशत, 1995 में 55.80 प्रतिशत, 2000 में 53.28 प्रतिशत और 2010 में 54.44 प्रतिशत हो गई। 2015 में महिलाओं ने 60.48 प्रतिशत और 2020 में 59.69 प्रतिशत मतदान किया। इस आंकड़े से यह स्पष्ट है कि महिलाओं का मतदान पुरुषों से अधिक सक्रिय और लगातार बढ़ता रहा है।
बदलाव के प्रमुख कारण
डेवलपमेंट मैनेजमेंट इंस्टीट्यूट (DMI) के डीन प्रो. शंकर पूर्वे के अनुसार, महिलाओं की बढ़ती भागीदारी के पीछे पांच मुख्य कारण हैं। पहला, पंचायत चुनावों में 50 प्रतिशत आरक्षण। इससे बड़ी संख्या में महिलाएं सीधे चुनाव प्रक्रिया में शामिल हुईं। दूसरा, महिला शिक्षा और निर्णय लेने की क्षमता में वृद्धि। तीसरा, कानून-व्यवस्था की बेहतर स्थिति ने महिलाओं को सुरक्षित मतदान की सुविधा दी। चौथा, योजनाएं जैसे जीविका ने महिलाओं को स्वरोजगार और आर्थिक स्वतंत्रता दी। पाँचवा, आर्थिक उन्नति और सामाजिक जागरूकता ने महिलाओं को मतदान केंद्र तक लाने में मदद की।
मतदान में सुविधा
चुनाव आयोग ने मतदाताओं के लिए परिवहन (transport) व्यवस्था को चुस्त किया है। विभिन्न वाहनों का किराया तय किया गया है और इंधन निर्वाचन विभाग उपलब्ध कराएगा। बड़ी बस के लिए किराया 3500 रुपये, 40-49 सीटर बस 3200 रुपये, मिनी बस 2500 रुपये, मैक्सी और टेंपो 2000 रुपये, छोटी कार 1000 रुपये, AC कार 1100 रुपये, इनोवा/सफारी AC 2100 रुपये, आटो/ई-रिक्शा 700 रुपये और बाइक 350 रुपये तय किया गया है। इस सुविधा से मतदाता आसानी से मतदान केंद्र तक पहुंच सकेंगे।