राहुल गांधी ने चुनाव आयोग पर मतदाता सूची में धांधली का आरोप लगाया है। फडणवीस ने पलटवार करते हुए इसे झूठ बताया और कहा कि यह हार छिपाने की कोशिश है।
Rahul Gandhi: लोकसभा चुनाव के नतीजों के बाद एक बार फिर भारतीय राजनीति में आरोप-प्रत्यारोप का दौर तेज हो गया है। इस बार कांग्रेस नेता और लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने चुनाव आयोग (Election Commission) पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने भाजपा पर मतदाता सूची में धांधली का आरोप लगाया और दावा किया कि महाराष्ट्र और कर्नाटक में बड़े पैमाने पर वोटों की हेराफेरी की गई है।
राहुल गांधी के आरोप क्या हैं
राहुल गांधी ने हाल ही में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि चुनाव आयोग पारदर्शिता के मानकों पर खरा नहीं उतर रहा है। उन्होंने आरोप लगाया कि आयोग ने मशीन से पढ़े जा सकने वाले (Machine Readable) मतदाता डेटा देने से इनकार कर दिया, जिससे गड़बड़ियों का विश्लेषण करना मुश्किल हो गया।
राहुल गांधी ने कर्नाटक के महादेवपुरा विधानसभा क्षेत्र का उदाहरण देते हुए कहा कि इस क्षेत्र में मतदाता सूची के साथ बड़ी धांधली हुई है। उन्होंने दावा किया कि भाजपा को इसी गड़बड़ी का फायदा मिला। उनके अनुसार, भाजपा बेंगलुरु मध्य लोकसभा क्षेत्र के अन्य छह विधानसभा क्षेत्रों में पिछड़ी, लेकिन महादेवपुरा में उसे एकतरफा वोट मिला।
उन्होंने यह भी कहा कि इस धांधली के सबूत जुटाने में छह महीने का समय लगा और अब उनके पास पर्याप्त प्रमाण हैं कि भाजपा और चुनाव आयोग के बीच मिलीभगत थी।
महाराष्ट्र में आंकड़ों पर उठा सवाल
राहुल गांधी ने महाराष्ट्र में वोटर लिस्ट को लेकर भी गंभीर सवाल खड़े किए। उन्होंने कहा कि लोकसभा चुनाव के बाद महज पांच महीने में एक करोड़ नए मतदाता जुड़ गए, जबकि पिछले पांच साल में ऐसा कभी नहीं हुआ। उनके मुताबिक यह आंकड़ा असामान्य है और यह ‘चुनाव चोरी’ का सीधा संकेत है।
उन्होंने कहा, “हम चुनाव आयोग के पास गए और स्पष्ट रूप से कहा कि महाराष्ट्र में चुनाव में हेराफेरी हुई है।” उनका यह भी कहना था कि आयोग की ओर से डेटा साझा न करना इस गड़बड़ी को छिपाने की कोशिश है।
देवेंद्र फडणवीस का कड़ा जवाब
राहुल गांधी के आरोपों पर महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री और भाजपा नेता देवेंद्र फडणवीस ने पलटवार किया है। उन्होंने राहुल गांधी पर झूठ बोलने और अपनी हार छिपाने का आरोप लगाया। फडणवीस ने कहा, “राहुल गांधी जानते हैं कि वह भविष्य में भी हारेंगे, इसलिए वह पहले से ही संवैधानिक संस्थाओं की छवि खराब कर रहे हैं।”
उन्होंने आगे कहा कि महाराष्ट्र या देश के किसी भी हिस्से में वोट चोरी नहीं हुई है। राहुल गांधी अपने बयानों में खुद ही भ्रम पैदा कर रहे हैं। “कभी वह कहते हैं कि 75 लाख वोट बढ़े हैं, फिर कहते हैं एक करोड़ वोट बढ़े हैं। इससे साफ है कि उनके पास कोई पुख्ता जानकारी नहीं है।”
संवैधानिक संस्थाओं पर हमला?
फडणवीस ने राहुल गांधी के बयानों को संवैधानिक संस्थाओं पर हमला बताया। उन्होंने कहा कि चुनाव आयोग जैसी संस्था पर इस तरह के आरोप लगाना गंभीर विषय है और इससे आम जनता का विश्वास डगमगा सकता है।
उनके अनुसार, “जो लोग लगातार चुनाव हार रहे हैं, वे लोकतांत्रिक व्यवस्था को ही कठघरे में खड़ा कर रहे हैं। यह भारत के लोकतंत्र के लिए खतरनाक है।”
राहुल गांधी का जवाबी दावा
राहुल गांधी ने अपने आरोपों पर कायम रहते हुए कहा कि भाजपा और आयोग की मिलीभगत के चलते निष्पक्ष चुनाव संभव नहीं हो पा रहे हैं। उन्होंने कहा कि उनकी टीम ने डेटा के विश्लेषण से यह साफ कर लिया है कि कहां-कहां गड़बड़ी हुई है। आयोग का Machine Readable डेटा न देना इस गड़बड़ी को छिपाने की एक सोची-समझी रणनीति है। उन्होंने इसे “लोकतंत्र की हत्या” बताया।