गृह मंत्री अमित शाह आज वाराणसी में सेंट्रल जोन काउंसिल की बैठक की अध्यक्षता करेंगे। चार राज्यों के मुख्यमंत्री भाग लेंगे। बैठक में महिलाओं की सुरक्षा, स्वास्थ्य और क्षेत्रीय विकास पर चर्चा होगी।
Amit Shah in UP: गृह मंत्री अमित शाह दो दिवसीय दौरे पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी पहुंचे हैं। इस यात्रा का मुख्य उद्देश्य सेंट्रल जोन के चार राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ महत्वपूर्ण बैठक करना है। यह बैठक वाराणसी में पहली बार आयोजित की जा रही है, जिससे इसका महत्व और बढ़ गया है।
कौन-कौन होंगे शामिल
इस बैठक में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी, मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव और छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय हिस्सा ले रहे हैं। इन चारों राज्यों को मिलाकर सेंट्रल जोन का गठन होता है। यह बैठक ऐसे समय हो रही है जब राज्यों के बीच आपसी समन्वय और सहयोग की आवश्यकता तेजी से बढ़ रही है।
क्या है बैठक का एजेंडा
बैठक का मुख्य एजेंडा उन विषयों पर चर्चा करना है जो दो या दो से अधिक राज्यों को प्रभावित करते हैं। यह बैठक आपसी सहयोग को बढ़ाने और साझा समस्याओं के समाधान की दिशा में एक सलाहकार मंच की भूमिका निभाती है।
बैठक में विशेष रूप से निम्नलिखित विषयों पर चर्चा होने की संभावना है:
- महिलाओं और बच्चों के खिलाफ यौन अपराधों की जांच में तेजी लाने के उपाय
- फास्ट ट्रैक कोर्ट की व्यवस्था को और प्रभावी बनाना
- हर गांव में ईंट और मोर्टार बैंकिंग सुविधाएं उपलब्ध कराना
- आपातकालीन स्थिति में त्वरित सहायता प्रणाली को मजबूत बनाना
- शिक्षा, स्वास्थ्य, बिजली, शहरी नियोजन और सहकारी प्रणाली में सुधार
राज्य पुनर्गठन अधिनियम और जोनल काउंसिल
भारत को पांच जोन में बांटकर प्रत्येक जोन के लिए एक काउंसिल का गठन किया गया है। इसका प्रावधान राज्य पुनर्गठन अधिनियम 1956 की धारा 15 से 22 तक किया गया है। इन काउंसिलों की अध्यक्षता देश के गृह मंत्री करते हैं। सभी राज्य और केंद्र शासित प्रदेश अपने-अपने जोन की काउंसिल के सदस्य होते हैं।
हर साल इन काउंसिलों में उपाध्यक्ष का चयन अलग-अलग राज्य के मुख्यमंत्री के रूप में किया जाता है। इसके अलावा, प्रत्येक काउंसिल में मुख्य सचिव स्तर की एक स्थायी समिति भी होती है जो नियमित रूप से काम करती है।
अमित शाह की धार्मिक यात्रा
गृह मंत्री अमित शाह बैठक से एक दिन पहले ही वाराणसी पहुंचे। शहर पहुंचने के बाद उन्होंने काल भैरव मंदिर में पूजा-अर्चना की। धार्मिक नगरी वाराणसी में यह आधिकारिक और आध्यात्मिक यात्रा दोनों ही दृष्टिकोण से अहम मानी जा रही है।
क्यों है यह बैठक खास
यह बैठक न केवल प्रशासनिक बल्कि राजनीतिक दृष्टिकोण से भी काफी महत्वपूर्ण मानी जा रही है। चार राज्यों के मुख्यमंत्रियों की मौजूदगी और केंद्र के गृह मंत्री की अध्यक्षता में यह बैठक कई महत्वपूर्ण निर्णयों की भूमिका तय कर सकती है।