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हिंदू में शादी करने वाली टीवी एक्ट्रेस आमना शरीफ ने ट्रोलिंग पर दिया जवाब, कहा- मैं हर दिन नमाज पढ़ती हूं'

हिंदू में शादी करने वाली टीवी एक्ट्रेस आमना शरीफ ने ट्रोलिंग पर दिया जवाब, कहा- मैं हर दिन नमाज पढ़ती हूं'

टीवी की एक चर्चित एक्ट्रेस कशिश उर्फ आमना शरीफ के बारे में इस आर्टिकल में चर्चा की जा रही है। उन्होंने मुस्लिम धर्म को अपनाते हुए हिंदू धर्म में शादी की है, जिसके कारण उन्हें काफी प्रतिक्रियाओं का सामना करना पड़ रहा है।

एंटरटेनमेंट: टीवी और बॉलीवुड इंडस्ट्री में कई ऐसी पॉपुलर हसीनाएं हैं जिन्होंने अपने जीवनसाथी के धर्म के आधार पर समाज की सोच को चुनौती दी है। इनमें से एक नाम है कहीं तो होगा फेम कशिश उर्फ आमना शरीफ, जिन्होंने मुस्लिम धर्म से हिंदू धर्म में शादी कर अपने रिश्ते की मिसाल पेश की है। हालांकि, सोशल मीडिया पर उन्हें अक्सर ट्रोल किया जाता है, लेकिन आमना ने अपने दृष्टिकोण और अनुभव साझा करते हुए लोगों को सिखाया कि धर्म से ज्यादा अहम है इंसानियत।

आमना शरीफ की शादी और परिवार

आमना शरीफ ने 2013 में हिंदू धर्म से ताल्लुक रखने वाले अमित कपूर से शादी की थी। यह कपल आज एक बेटी का पालन-पोषण भी कर रहा है। शादी के बावजूद आमना को सोशल मीडिया पर अक्सर उनके धर्म परिवर्तन और इंटर-रिलिजियस मैरिज के लिए ट्रोल किया जाता रहा है।

आमना ने हाल ही में हिंदी रश को दिए इंटरव्यू में इस ट्रोलिंग पर खुलकर बात की। उन्होंने कहा कि सबसे जरूरी है कि इंसान अच्छा हो और उसके कर्म नेक हों। धर्म या मजहब किसी रिश्ते की सफलता की अहमियत नहीं रखते।

ट्रोलिंग पर आमना का जवाब

आमना ने अपने अनुभव साझा करते हुए कहा: लोग शुरुआत में काफी बकवास करते थे। मुझे समझ नहीं आता कि ये कौन लोग हैं जो दूसरों के अकाउंट पर जाकर ट्रोल करते हैं। उनके पास इतना समय कैसे रहता है? उन्होंने बताया कि पहले ये बात उन्हें प्रभावित करती थी, लेकिन अब उन्होंने इसे नजरअंदाज करना सीख लिया है। आमना का मानना है कि दूसरों की राय से प्रभावित होने की बजाय अपने जीवन और अपने विश्वास पर ध्यान देना चाहिए।

आमना ने बताया कि वे रोज़ाना नमाज पढ़ती हैं, और जब वे मंदिर के सामने से गुजरती हैं तो वहां भी आशीर्वाद लेती हैं। उनका कहना है कि सबसे महत्वपूर्ण है हर धर्म का सम्मान करना।

'आप पर निर्भर करता है कि आप किस चीज पर विश्वास करते हैं। अगर आप अच्छे इंसान हैं, तो आप किसके साथ जिंदगी बिताने जा रहे हैं और वह किस धर्म से है, इससे कोई फर्क नहीं पड़ता।'

इस दृष्टिकोण से आमना ने साबित कर दिया कि धर्म सिर्फ एक पहचान नहीं, बल्कि समान मानवता और सम्मान का प्रतीक होना चाहिए।

सोशल मीडिया और ट्रोलिंग की चुनौती

सोशल मीडिया ने जहां लोगों को अपनी राय साझा करने का मंच दिया है, वहीं यह प्लेटफॉर्म नकारात्मकता और ट्रोलिंग का भी केंद्र बन गया है। आमना जैसे कलाकारों को लगातार अपने निजी जीवन और धार्मिक चुनाव के लिए आलोचना झेलनी पड़ती है। हालांकि, आमना का संदेश स्पष्ट है कि ट्रोलिंग को नजरअंदाज करना और अपने मूल्यों पर कायम रहना ही सबसे बेहतर तरीका है।

आमना शरीफ का जीवन और उनका दृष्टिकोण एक संदेश देता है कि धर्म परिवर्तन या इंटर-रिलिजियस मैरिज सामाजिक बाधाओं को पार कर सकती है, बशर्ते प्यार और सम्मान का आधार मजबूत हो। उन्होंने दिखाया कि धार्मिक विश्वास और व्यक्तिगत जीवन के बीच संतुलन बनाना संभव है।

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