हुमा कुरैशी की फिल्म ‘बयान’ अपनी रिलीज से पहले ही सुर्खियों में छा गई है। यह फिल्म अब अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान बना रही है, क्योंकि इसका वर्ल्ड प्रीमियर टोरंटो इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल (TIFF) में होने जा रहा है।
Bayaan World Premiere At TIFF: भारतीय सिनेमा के लिए एक गर्व का क्षण आया है क्योंकि हुमा कुरैशी की फिल्म ‘बयान’ को टोरंटो इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल (TIFF) 2025 के प्रतिष्ठित डिस्कवरी सेक्शन में प्रदर्शित किया जाएगा। यह फिल्म न केवल अपने विषयवस्तु की गहराई के लिए चर्चा में है, बल्कि इस साल इस खंड में चुनी गई इकलौती भारतीय फिल्म भी है। इस थ्रिलर फिल्म का वर्ल्ड प्रीमियर सितंबर 2025 में टोरंटो में होगा, जहां दुनिया भर के फिल्म निर्माता और दर्शक इसे देख पाएंगे।
विकास रंजन मिश्रा का निर्देशन, हुमा कुरैशी ने निभाई दमदार भूमिका
‘बयान’ का निर्देशन विकास रंजन मिश्रा ने किया है, जिन्होंने इससे पहले चर्चित फिल्म ‘चौरंगा’ बनाई थी। ‘बयान’ एक पुलिस थ्रिलर है जो समाज, सत्ता और लिंग आधारित राजनीति के जटिल संबंधों को उजागर करती है। निर्देशक मिश्रा के अनुसार, यह फिल्म समकालीन भारत की एक ईमानदार झलक है, जहां सत्ता और जेंडर के समीकरण बेहद गहरे और अक्सर अदृश्य होते हैं। फिल्म में एक ऐसी महिला की कहानी है जो एक भ्रष्ट सिस्टम और सामाजिक दबाव के बीच खुद की आवाज़ नहीं खोती।
हुमा कुरैशी इस फिल्म में मुख्य भूमिका निभा रही हैं और साथ ही वह फिल्म की एग्जीक्यूटिव प्रोड्यूसर भी हैं। हुमा के अनुसार, “बयान सिर्फ एक फिल्म नहीं है, यह एक स्टेटमेंट है। यह एक ऐसी महिला की कहानी है जो व्यवस्था के खिलाफ खड़ी होती है, एक ऐसा सिस्टम जो उसे चुप कराने की पूरी कोशिश करता है। इस किरदार के जरिए मुझे अपनी अभिनय क्षमता की एक नई दिशा मिली।”
उन्होंने आगे कहा, मैं लंबे समय से ऐसे किरदार की तलाश में थी – जो न सिर्फ परतदार हो, बल्कि सामाजिक यथार्थ से भी गहराई से जुड़ा हो। 'बयान' मेरे लिए वो मंच बना है।
फिल्म की स्टारकास्ट और कहानी
इस फिल्म में हुमा कुरैशी के साथ-साथ कई दमदार कलाकार नजर आएंगे:
- चंद्रचूड़ सिंह
- सचिन खेडेकर
- अविजीत दत्त
- परितोष, विभोर मयंक, स्वाति दास, संपा मंडल, अदिति कंचन सिंह और पेरी छाबड़ा।
फिल्म एक सोशल-पॉलिटिकल थ्रिलर है, जो भारतीय न्याय प्रणाली, महिला सशक्तिकरण और पावर डायनामिक्स की परतें खोलती है। टोरंटो इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल (TIFF) का डिस्कवरी सेक्शन उभरते फिल्म निर्देशकों और नई सोच वाली फिल्मों को वैश्विक मंच देता है। इस सेक्शन में चयनित होना, खासकर एक भारतीय फिल्म के लिए, एक बड़ी उपलब्धि मानी जाती है।