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IRFC शेयर में तेजी की नई उम्मीदें, क्या निवेशकों के लिए दोबारा लौट आया है मौका?

IRFC शेयर में तेजी की नई उम्मीदें, क्या निवेशकों के लिए दोबारा लौट आया है मौका?

भारतीय रेलवे फाइनेंस कॉरपोरेशन (IRFC) के शेयरों को 2025 में अब तक काफी उतार-चढ़ाव का सामना करना पड़ा है। साल की शुरुआत से अब तक कंपनी के स्टॉक में करीब 10% की गिरावट दर्ज की गई है

Indian Railway Finance Corporation (IRFC) एक बार फिर निवेशकों के रडार पर है। रेलवे परियोजनाओं की वित्तीय रीढ़ मानी जाने वाली इस सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनी के शेयरों में हाल ही में आई तेजी ने बाजार विशेषज्ञों का ध्यान आकर्षित किया है। हालांकि वर्ष 2025 की शुरुआत से अब तक इसमें 10% की गिरावट दर्ज की गई है और पिछले 12 महीनों में यह स्टॉक 22% तक टूटा है, लेकिन अब इसमें फिर से उछाल की उम्मीद जताई जा रही है।

RBI की नई प्रोजेक्ट लोन पॉलिसी और इंफ्रास्ट्रक्चर सेक्टर में बढ़ती उम्मीदों ने IRFC को फिर से मजबूत स्थिति में ला खड़ा किया है। निवेशकों को अब यह सवाल परेशान कर रहा है कि क्या यह वाकई निवेश का सही मौका है? और अगर हां, तो इसमें कितना और कब तक रिटर्न मिल सकता है?

तेजी की शुरुआत और बाजार की स्थिति

सोमवार को भारतीय शेयर बाजार में गिरावट का माहौल था। निफ्टी 140 अंक की गिरावट के साथ 24,972 के स्तर पर बंद हुआ। इसके विपरीत IRFC के शेयरों में सकारात्मक मूवमेंट देखने को मिला, जो यह दर्शाता है कि कंपनी के प्रति निवेशकों की धारणा मजबूत बनी हुई है।

मंगलवार को बाजार में थोड़ी रौनक लौटी और इसके साथ ही IRFC के स्टॉक ने 2% की तेजी के साथ 139.55 रुपये तक का स्तर छुआ। साथ ही स्टॉक में भारी वॉल्यूम देखा गया, जो दर्शाता है कि निवेशक इसे लॉन्ग टर्म के नजरिए से देख रहे हैं।

IRFC में निवेशकों की बढ़ती रुचि

सोमवार को BSE पर IRFC के 20 लाख से अधिक शेयरों की ट्रेडिंग हुई, जिसमें से लगभग 42% हिस्से की डिलीवरी भी हुई। इसका अर्थ है कि बड़ी संख्या में निवेशकों ने इस स्टॉक को सिर्फ ट्रेडिंग के लिए नहीं, बल्कि लंबे समय तक होल्ड करने के लिए खरीदा है।

यह निवेशकों का बढ़ता भरोसा और कंपनी के मजबूत फंडामेंटल्स का संकेत है। IRFC, जो रेलवे से जुड़े प्रोजेक्ट्स के लिए फंड मुहैया कराती है, को रेलवे के विस्तार योजनाओं से भविष्य में अच्छा फायदा मिलने की संभावना है।

RBI की नई नीति ने बदला खेल

भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा प्रोजेक्ट फाइनेंस पॉलिसी में किए गए बड़े बदलाव ने रेलवे और इंफ्रास्ट्रक्चर सेक्टर को नई ऊर्जा दी है। अब बैंकों को परियोजनाओं में लंबे समय के लिए ऋण देने की अधिक स्वतंत्रता मिलेगी, जिससे इन क्षेत्रों में पूंजी का प्रवाह बढ़ेगा।

IRFC, जो रेलवे प्रोजेक्ट्स के लिए एक अहम वित्तीय संस्था है, इस पॉलिसी बदलाव से सीधे लाभान्वित हो रही है। इसके चलते निवेशक IRFC के स्टॉक में फिर से रुचि दिखा रहे हैं और इसमें खरीदारी बढ़ी है।

तकनीकी विश्लेषण: किस दिशा में जा रहा है स्टॉक?

IRFC के शेयरों ने हाल ही में 130 रुपये का मजबूत सपोर्ट बनाया है, जहां से बार-बार खरीदारी देखने को मिल रही है। यह स्तर निवेशकों के लिए एक तरह का मनोवैज्ञानिक सुरक्षा बिंदु बन गया है।

डेली चार्ट के मुताबिक, 140 रुपये का स्तर स्टॉक के लिए एक अहम रजिस्टेंस बन चुका है। अगर यह स्तर पार होता है और स्टॉक कुछ समय के लिए यहां कंसोलिडेट करता है, तो अगला टारगेट 155 रुपये तक हो सकता है। वहीं, नीचे की तरफ 130 रुपये का सपोर्ट काफी मजबूत है। अगर स्टॉक इस स्तर के नीचे जाता है, तो कमजोरी के संकेत मिल सकते हैं।

IRFC के मजबूत फंडामेंटल्स

कंपनी का मार्केट कैप करीब 1.79 लाख करोड़ रुपये है, जो इसे एक बड़ी सार्वजनिक क्षेत्र की फर्म बनाता है।

डिविडेंड यील्ड 1.43% है, जो दर्शाता है कि कंपनी निवेशकों को नियमित रिटर्न भी देती है।

IRFC की भूमिका रेलवे प्रोजेक्ट्स की फाइनेंसिंग में बेहद अहम है और यह सरकार की योजनाओं का सीधा लाभार्थी बनती है।

कंपनी के पास कम जोखिम वाले और सरकारी गारंटी वाले ऋण पोर्टफोलियो हैं, जिससे इसकी क्रेडिट क्वालिटी मजबूत बनी रहती है।

विशेषज्ञों की राय

शेयर बाजार के जानकारों का मानना है कि IRFC जैसे पीएसयू स्टॉक्स में लॉन्ग टर्म दृष्टिकोण से निवेश करना फायदे का सौदा हो सकता है। यदि सरकार रेलवे सेक्टर पर अपना निवेश जारी रखती है और इंफ्रास्ट्रक्चर को प्राथमिकता मिलती रही, तो IRFC को इसका सीधा लाभ मिलता रहेगा।

कई विश्लेषकों का मानना है कि अगर वर्तमान तेजी बनी रहती है और स्टॉक 140 रुपये के ऊपर स्थिर होता है, तो अगले कुछ महीनों में इसमें 15-20% तक का रिटर्न संभव है। हालांकि यह जरूरी है कि निवेशक बाजार की मौजूदा परिस्थितियों और IRFC की कारोबारी गतिविधियों पर नजर बनाए रखें।

निवेश के लिए ध्यान रखने योग्य बातें

IRFC की कीमत पहले ही निचले स्तरों से उठ चुकी है, लेकिन अब भी यह कई अन्य रेल PSU स्टॉक्स की तुलना में वैल्यूएशन पर आकर्षक है।

डिविडेंड यील्ड को देखते हुए यह एक डिफेंसिव निवेश विकल्प भी है।

स्टॉक में निवेश करने से पहले 130 रुपये का स्टॉपलॉस रखना समझदारी हो सकती है, ताकि किसी भी संभावित गिरावट से सुरक्षा मिले।

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