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मालदीव की हीरक जयंती समारोह में शामिल हुए प्रधानमंत्री मोदी, एस जयशंकर ने दी बधाई

मालदीव की हीरक जयंती समारोह में शामिल हुए प्रधानमंत्री मोदी, एस जयशंकर ने दी बधाई

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शनिवार को मालदीव के स्वतंत्रता दिवस समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए। यह अवसर मालदीव की आजादी की हीरक जयंती (75वीं वर्षगांठ) का था, जो द्वीप राष्ट्र के लिए ऐतिहासिक महत्व रखता है।

माले: भारत और मालदीव के बीच ऐतिहासिक और कूटनीतिक संबंधों में एक नया अध्याय जुड़ गया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शनिवार को मालदीव के स्वतंत्रता दिवस के हीरक जयंती (60 वर्ष) समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए। यह भारत-मालदीव द्विपक्षीय संबंधों में गर्मजोशी और भरोसे का नया संकेत है।

इस खास अवसर पर मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू द्वारा पीएम मोदी को आमंत्रित किया गया था, जो दोनों देशों के संबंधों में बढ़ती समझ और सहयोग को दर्शाता है। मालदीव ने इस वर्ष अपनी 1965 में ब्रिटेन से मिली आज़ादी के 60 वर्ष पूरे किए हैं।

विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने दी बधाई

भारत के विदेश मंत्री डॉ. एस. जयशंकर ने इस अवसर पर सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर मालदीव की सरकार और जनता को शुभकामनाएं दीं। उन्होंने लिखा: मालदीव की आज़ादी की हीरक जयंती समारोह पर वहां की सरकार और जनता को हार्दिक बधाई। आज माले में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ समारोह में शामिल होना गर्व की बात है। 

हम भारत-मालदीव के 60 वर्षों के राजनयिक संबंधों का भी उत्सव मना रहे हैं और हिंद महासागर क्षेत्र में शांति, समृद्धि और स्थिरता के लिए अपनी साझेदारी को और सशक्त करने की प्रतिबद्धता दोहराते हैं।

भारत-मालदीव संबंध: ऐतिहासिक साझेदारी

भारत और मालदीव के बीच कूटनीतिक संबंध 1965 में मालदीव की स्वतंत्रता के बाद ही स्थापित हो गए थे। दोनों देशों के बीच सांस्कृतिक, आर्थिक और सामरिक साझेदारी दशकों से मजबूत रही है। मालदीव हिंद महासागर क्षेत्र में भारत के लिए रणनीतिक दृष्टिकोण से एक अहम सहयोगी रहा है। बीते कुछ वर्षों में दोनों देशों के बीच रिश्तों में उतार-चढ़ाव देखने को मिले हैं, लेकिन हालिया घटनाक्रम और शीर्ष नेताओं की सक्रिय भागीदारी से यह स्पष्ट है कि दोनों देश भविष्य की ओर आशा और सहयोग की दृष्टि से आगे बढ़ रहे हैं।

प्रधानमंत्री मोदी की माले यात्रा के दौरान उन्होंने मालदीव के उपराष्ट्रपति हुसैन मोहम्मद लतीफ से मुलाकात की। इस द्विपक्षीय बैठक में दोनों नेताओं ने साझा विकास, व्यापार, समुद्री सुरक्षा, पर्यटन और संस्कृति के क्षेत्र में सहयोग को और अधिक मजबूत करने पर विचार-विमर्श किया। इस मुलाकात के माध्यम से भारत ने यह संदेश दिया कि वह अपने पड़ोसी देशों के साथ समावेशी विकास और क्षेत्रीय स्थिरता को प्राथमिकता देता है। यह बैठक दोनों देशों के बीच आपसी विश्वास को और गहरा करने की दिशा में एक अहम कदम मानी जा रही है।

हिंद महासागर में साझेदारी और स्थिरता

भारत और मालदीव दोनों हिंद महासागर क्षेत्र की सुरक्षा और समुद्री ट्रैफिक की निगरानी के लिए लगातार सहयोग करते आए हैं। भारत ने मालदीव को कोस्ट गार्ड, रक्षा प्रशिक्षण, आपदा प्रबंधन और स्वास्थ्य सेवाओं के क्षेत्र में सहयोग प्रदान किया है। प्रधानमंत्री मोदी की उपस्थिति ने यह स्पष्ट किया कि भारत न केवल मालदीव की संप्रभुता और विकास का समर्थन करता है, बल्कि हिंद महासागर में मुक्त, समावेशी और नियम आधारित व्यवस्था को सुनिश्चित करने की भी प्रतिबद्धता रखता है।

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