पाकिस्तान में तहरीक-ए-लब्बैक पाकिस्तान (TLP) प्रमुख साद रिज़वी को गोली लगने के बाद विरोध प्रदर्शन हिंसक हो गए। पुलिस और प्रदर्शनकारियों में झड़पें हुईं, कई घायल हुए और एक पुलिस अधिकारी की मौत हो गई। देशभर में तनाव बढ़ गया है।
Pakistan Protests: पाकिस्तान में हालात लगातार तनावपूर्ण बने हुए हैं। तहरीक-ए-लब्बैक पाकिस्तान (TLP) के प्रमुख साद रिज़वी को कथित रूप से गोली लगने के बाद पूरे देश में विरोध प्रदर्शन भड़क गए हैं। सुरक्षाबलों और प्रदर्शनकारियों के बीच हिंसक झड़पें हुईं, जिसमें कई लोगों के घायल होने और कुछ की मौत की खबर है। टीएलपी ने पूरे पाकिस्तान में प्रदर्शन का आह्वान किया है, जिससे कई शहरों में यातायात ठप हो गया है और स्थिति बेहद नाजुक बनी हुई है।
लाहौर और इस्लामाबाद में बेकाबू हालात
पंजाब प्रांत के लाहौर में टीएलपी समर्थकों और पुलिस के बीच सोमवार को हिंसक झड़पें हुईं। प्रदर्शनकारी इस्लामाबाद स्थित अमेरिकी दूतावास के बाहर फिलिस्तीन (Palestine) समर्थक रैली निकालना चाहते थे। जब पुलिस ने भीड़ को रोकने के लिए बैरिकेडिंग की, तो प्रदर्शनकारियों ने उसे तोड़ने की कोशिश की। इसके बाद दोनों पक्षों में संघर्ष छिड़ गया। पुलिस ने भीड़ को काबू करने के लिए बल का प्रयोग किया और आंसू गैस के गोले दागे। कई जगह गोलियां चलने की भी पुष्टि हुई है।
पुलिस अधिकारी की मौत, कई घायल
एनडीटीवी की रिपोर्ट के अनुसार, पंजाब पुलिस प्रमुख उस्मान अनवर ने बताया कि प्रदर्शनकारियों ने पुलिस पर गोलियां चलाईं, जिसमें एक अधिकारी की मौत हो गई और कई अन्य घायल हो गए। हालांकि पुलिस ने प्रदर्शनकारियों के हताहत होने की आधिकारिक पुष्टि नहीं की है। वहीं टीएलपी ने दावा किया है कि उसके कई समर्थक मारे गए हैं और सैकड़ों घायल हैं।
टीएलपी प्रमुख साद रिज़वी गंभीर रूप से घायल
टीएलपी के बयान में दावा किया गया है कि उनके प्रमुख साद रिज़वी भी गोलीबारी में घायल हुए हैं। टीएलपी के अनुसार, रिज़वी को कई गोलियां लगी हैं और उनकी हालत गंभीर है। सोशल मीडिया पर वायरल एक वीडियो में साद रिज़वी प्रदर्शनकारियों से शांति बनाए रखने की अपील करते हुए और सुरक्षा बलों से गोलीबारी रोकने की गुहार लगाते दिखाई दे रहे हैं।
सोशल मीडिया पर वायरल हुई हिंसा की तस्वीरें
सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर कई वीडियो तेजी से वायरल हो रहे हैं, जिनमें वाहनों को आग लगाई जाती हुई और भीड़ को भागते हुए देखा जा सकता है। एक वीडियो में वह ट्रक भी जलता हुआ दिखा, जिसमें टीएलपी कार्यकर्ता इस्लामाबाद की ओर जा रहे थे। बताया जा रहा है कि शुक्रवार से शुरू हुआ "लॉन्ग मार्च" (Long March) धीरे-धीरे हिंसा में बदल गया है। पुलिस ने शनिवार को विरोध प्रदर्शन के दौरान करीब 100 लोगों को गिरफ्तार किया था।
इजरायल विरोधी प्रदर्शन से उपजा विवाद
टीएलपी पिछले कई दिनों से पाकिस्तान में गाजा पीस प्लान (Gaza Peace Plan) का विरोध कर रही थी। उनका आरोप है कि सरकार फिलिस्तीन के खिलाफ अमेरिकी और पश्चिमी देशों के साथ खड़ी है। इसी विरोध के तहत टीएलपी ने देशभर में इजरायल-विरोधी (anti-Israel) मार्च आयोजित किया था। लाहौर से इस्लामाबाद की ओर बढ़ रहे कार्यकर्ताओं ने रास्ते में कई इलाकों में जाम और हिंसक प्रदर्शन किए।
पुलिस और प्रशासन की सख्ती
स्थिति पर नियंत्रण पाने के लिए प्रशासन ने कई शहरों में इंटरनेट सेवाएं (internet services) बंद कर दी हैं। इस्लामाबाद, लाहौर और रावलपिंडी में सुरक्षा बलों की अतिरिक्त टुकड़ियां तैनात की गई हैं। पुलिस ने कई जगहों पर धारा 144 लागू की है, जिससे बड़े समूहों के एकत्र होने पर रोक लगाई जा सके। वहीं, सरकार ने कहा है कि किसी भी कीमत पर कानून-व्यवस्था (law and order) को बिगड़ने नहीं दिया जाएगा।