Pune

ट्रंप टैरिफ डेडलाइन पर गरमाई सियासत, राहुल गांधी ने बोला हमला- 'मोदी झुकेंगे ट्रंप के टैरिफ के आगे',

ट्रंप टैरिफ डेडलाइन पर गरमाई सियासत, राहुल गांधी ने बोला हमला- 'मोदी झुकेंगे ट्रंप के टैरिफ के आगे',

राहुल गांधी ने आरोप लगाया है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अमेरिका के टैरिफ दबाव के आगे झुक जाएंगे। भारत और अमेरिका के बीच व्यापार समझौते पर गतिरोध बना हुआ है और डेडलाइन नजदीक है।

Trade Deal: अमेरिका-भारत व्यापार टकराव पर विपक्ष का तीखा रुखभारत और अमेरिका के बीच व्यापार समझौते को लेकर जारी गतिरोध ने अब राजनीतिक तूल पकड़ लिया है। विपक्ष के नेता और कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर सीधा हमला बोला है। उनका कहना है कि ट्रंप द्वारा तय की गई टैरिफ की समय सीमा जैसे-जैसे करीब आ रही है, मोदी सरकार झुकने को मजबूर हो जाएगी।

'नेगोशिएशन नहीं, समर्पण होगा': राहुल गांधी का ट्वीट

राहुल गांधी ने एक ट्वीट कर कहा है, "पीयूष गोयल चाहे जितना सीना ठोक लें, लेकिन मोदी ट्रंप के टैरिफ के आगे झुक जाएंगे। मेरी बात नोट कर लें।" राहुल के इस बयान ने भाजपा सरकार की विदेश नीति और व्यापार रणनीति पर सवाल खड़े कर दिए हैं।

व्यापार समझौते की समय सीमा खत्म होने वाली

अमेरिका ने भारत पर पारस्परिक टैरिफ लागू करने की घोषणा की थी, जिसके तहत भारतीय उत्पादों पर 26 प्रतिशत शुल्क लगाया जाना था। हालांकि, इसे 90 दिनों के लिए टाल दिया गया था। अब यह समय सीमा 9 जुलाई को खत्म हो रही है। ऐसे में दोनों देशों के बीच कोई ठोस समझौता नहीं हो पाया है।

पीयूष गोयल का जवाब: भारत के हित सर्वोपरि

केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने हाल ही में एक व्यापारिक कार्यक्रम में कहा था कि भारत तभी व्यापार समझौता करेगा जब उसके हितों की पूरी तरह से रक्षा होगी। उन्होंने साफ किया कि कृषि और डेयरी क्षेत्र में भारत कोई समझौता नहीं करेगा। उनका कहना था कि भारत किसी भी दबाव या समय सीमा के आधार पर कोई फैसला नहीं करेगा।

ट्रंप की चेतावनी और 'टैरिफ किंग' का बयान

डोनाल्ड ट्रंप ने अप्रैल में भारत को "टैरिफ किंग" कहा था और आरोप लगाया था कि भारत अमेरिकी सामानों पर अत्यधिक शुल्क लगाता है। ट्रंप ने यह भी कहा था कि अगर भारत ने टैक्स कम नहीं किए तो अमेरिका 26 प्रतिशत का टैरिफ लागू करेगा। इस टैरिफ की अंतिम समय सीमा अब समाप्त होने को है।

भारत-अमेरिका व्यापार गतिरोध के मुख्य मुद्दे

व्यापार समझौते पर सहमति न बनने के पीछे कई कारण हैं। भारत ने मक्का, सोयाबीन जैसे अमेरिकी कृषि उत्पादों पर टैरिफ कम करने से इनकार कर दिया है। साथ ही, भारत में डेयरी उद्योग से जुड़े 80 मिलियन से अधिक लोगों की आजीविका को ध्यान में रखते हुए डेयरी क्षेत्र में कोई रियायत नहीं दी गई है।

दूसरी ओर, भारत चाहता है कि अमेरिका कपड़ा, आभूषण, चमड़ा और रसायन जैसे क्षेत्रों में भारतीय उत्पादों को ज्यादा पहुंच दे। लेकिन अमेरिका इसके लिए भारत से कृषि बाजार खोलने की मांग कर रहा है।

Leave a comment