हिमाचल प्रदेश की कांग्रेस राजनीति में इन दिनों हलचल तेज़ है। प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू, कांग्रेस विधायक दल के पूर्व नेता मुकेश अग्निहोत्री, और वरिष्ठ मंत्री विक्रमादित्य सिंह इस समय दिल्ली में हैं, जहां उन्होंने पार्टी के केंद्रीय नेतृत्व से मुलाकात की।
नई दिल्ली: हिमाचल प्रदेश कांग्रेस में संगठनात्मक बदलाव और नेतृत्व को लेकर जारी अटकलों के बीच पार्टी के शीर्ष नेता दिल्ली पहुंचकर "मंथन मिशन" में जुट गए हैं। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू, पूर्व उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री और कैबिनेट मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने बीते 24 घंटों में दिल्ली में कांग्रेस हाईकमान से महत्वपूर्ण मुलाकातें की हैं।
सूत्रों के मुताबिक, इन नेताओं ने राहुल गांधी और प्रियंका गांधी वाड्रा से मुलाकात की और प्रदेश कांग्रेस की वर्तमान स्थिति, संगठन की सुस्ती और संभावित बदलावों पर विस्तृत चर्चा की।
मुलाकात के पीछे के बड़े कारण
हाल ही में हिमाचल कांग्रेस में संगठन को लेकर सवाल उठते रहे हैं। पार्टी कार्यकर्ताओं के बीच असंतोष और चुनावी रणनीतियों में एकरूपता की कमी को लेकर हाईकमान चिंतित बताया जा रहा है। विक्रमादित्य सिंह और मुकेश अग्निहोत्री ने बीते दिनों पार्टी फोरम में स्वतंत्रता से कार्य करने की मांग रखी थी और संगठन में पारदर्शिता लाने की ज़रूरत पर ज़ोर दिया था। माना जा रहा है कि दिल्ली में इन नेताओं की राहुल-प्रियंका के साथ मुलाकात में इन्हीं मुद्दों पर गहन विचार-विमर्श हुआ।
सुक्खू की भूमिका और हाईकमान की रणनीति
मुख्यमंत्री सुक्खू ने भी दिल्ली दौरे में यह स्पष्ट किया कि सरकार और संगठन दोनों को मज़बूती से चलाना जरूरी है। हालांकि यह भी चर्चा है कि संगठन और सरकार के बीच सामंजस्य की कमी को लेकर हाईकमान चिंतित है। सूत्रों के मुताबिक, कांग्रेस नेतृत्व जल्द ही हिमाचल प्रदेश कांग्रेस कमेटी के नए अध्यक्ष की घोषणा कर सकता है। इस फैसले को आगामी नगर निगम और पंचायत चुनावों की रणनीति से भी जोड़कर देखा जा रहा है।
नए अध्यक्ष की ताजपोशी जल्द
यह माना जा रहा है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष के रूप में किसी ऐसे नेता की नियुक्ति की जा सकती है जो सरकार और संगठन के बीच पुल का काम कर सके, और जमीनी स्तर पर पार्टी को मज़बूत कर सके। इस पद की दौड़ में एक वरिष्ठ नेता, एक महिला नेता और एक युवा चेहरे के नाम सामने आ रहे हैं। कांग्रेस सूत्रों का मानना है कि हाईकमान अब संगठन में निष्क्रियता और गुटबाज़ी के चलते कोई ढीला निर्णय नहीं लेना चाहता। नई नियुक्ति के ज़रिए 2027 विधानसभा चुनावों की तैयारी को गति देने की योजना है।
नेताओं के बयान और संकेत
दिल्ली में मीडिया से संक्षिप्त बातचीत में मुख्यमंत्री सुक्खू ने कहा: हम पार्टी के संगठनात्मक मुद्दों पर विचार के लिए यहां हैं। कांग्रेस एकजुट है और हम सब मिलकर पार्टी को मज़बूत करने के लिए काम कर रहे हैं। वहीं विक्रमादित्य सिंह ने भी कहा: युवा कार्यकर्ताओं की आवाज़ को संगठन में शामिल करना ज़रूरी है। हमें हिमाचल में कांग्रेस को नई ऊर्जा देनी होगी।
हिमाचल में अगले कुछ महीनों में शहरी निकायों और कुछ जिलों में पंचायत उपचुनाव होने हैं। कांग्रेस नेतृत्व चाहता है कि पार्टी इन चुनावों में अच्छा प्रदर्शन करे। इसके लिए राज्य स्तर पर नेतृत्व परिवर्तन, नए कार्यकारिणी गठन और ज़िलावार प्रभारी नियुक्त करने की योजना बनाई जा रही है।