धनबाद में कोयला खदान की दीवार ढहने से तेल टैंकर पलट गया, जिसमें निजी कंपनी के कर्मचारी की मौत और दो अन्य घायल हो गए। हादसे के बाद कंपनी ने मृतक के परिवार को मुआवजा और नौकरी देने की पेशकश की है।
धनबाद: झारखंड के धनबाद में रविवार को हुए एक भीषण हादसे ने खनन कार्यों की सुरक्षा व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। पुटकी थाना क्षेत्र स्थित एक कोयला खदान में अचानक दीवार का एक बड़ा हिस्सा ढह गया और मलबा पास खड़े तेल टैंकर पर जा गिरा। इस हादसे में एक कर्मचारी की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि दो अन्य घायल हो गए। मृतक की पहचान केंदुआ के राजपूत बस्ती निवासी दीपक पांडे (25) के रूप में हुई है। घटना के बाद पूरे क्षेत्र में हड़कंप मच गया और खनन गतिविधियां तत्काल रोक दी गईं।
धनबाद खदान हादसे में एक की मौत
धनबाद के पुटकी इलाके में रविवार दोपहर यह घटना उस समय हुई जब एक निजी कंपनी का तेल टैंकर खनन मशीनों में ईंधन भरने के लिए खदान के अंदर पहुंचा था। तभी अचानक खदान की एक तरफ की दीवार ढह गई। देखते ही देखते मिट्टी और पत्थरों का ढेर टैंकर पर गिर पड़ा, जिससे वह पलट गया। इस दौरान दीपक पांडे नामक कर्मचारी टैंकर के पास ही खड़ा था, जो मलबे में दब गया।
हादसे के बाद वहां काम कर रहे मजदूरों में भगदड़ मच गई। खदान क्षेत्र में मौजूद कर्मियों ने किसी तरह घायलों को बाहर निकाला और तत्काल पुलिस को सूचना दी। स्थानीय पुलिस व राहत टीम मौके पर पहुंची और मलबे से शव को बाहर निकाला। दो अन्य घायल, गणेश महतो और किशोर महतो, को नजदीकी नर्सिंग होम में भर्ती कराया गया।
हादसे पर पुलिस ने जताई लापरवाही की आशंका

पुटकी थाना प्रभारी वकार हुसैन ने बताया कि प्रारंभिक जांच में यह सामने आया है कि खदान की दीवार लंबे समय से कमजोर थी, लेकिन उसकी मरम्मत या मजबूतीकरण नहीं किया गया था। उन्होंने कहा, “हादसे के समय टैंकर ईंधन भरने की प्रक्रिया में था, तभी दीवार का एक हिस्सा भरभराकर गिर गया। यह घटना पूरी तरह से अप्रत्याशित थी।”
पुलिस ने मृतक के शव को शहीद निर्मल महतो मेडिकल कॉलेज अस्पताल भेजकर पोस्टमार्टम की कार्रवाई शुरू कर दी है। अधिकारियों ने कहा कि इस दुर्घटना की विस्तृत जांच की जाएगी और यदि लापरवाही साबित हुई, तो संबंधित कंपनी प्रबंधन के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
निजी कंपनी ने दिया मुआवजा और नौकरी का आश्वासन
हादसे के बाद कंपनी प्रबंधन ने मृतक के परिवार को आर्थिक सहायता देने का ऐलान किया है। कंपनी की ओर से मृतक के परिवार को पांच लाख रुपये नकद और 10 लाख रुपये का चेक प्रदान किया गया है। इसके साथ ही परिवार के एक सदस्य को अनुकंपा के आधार पर नौकरी देने का वादा किया गया है।
कंपनी के प्रवक्ता ने कहा कि यह एक “दुर्भाग्यपूर्ण दुर्घटना” थी और खदान क्षेत्र में सुरक्षा मानकों को और सख्त किया जाएगा। वहीं, स्थानीय लोगों और खनिक यूनियनों ने इस घटना को सुरक्षा में लापरवाही का नतीजा बताते हुए सरकारी हस्तक्षेप की मांग की है।













