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SEBI ने कड़ा किया KYC नियम, पहली निवेश राशि से पहले पूरा करना होगा सत्यापन

SEBI ने कड़ा किया KYC नियम, पहली निवेश राशि से पहले पूरा करना होगा सत्यापन

SEBI ने म्यूचुअल फंड निवेशकों के लिए नया नियम लागू किया है, जिसके तहत नए फोलियो खोलने और पहली निवेश राशि डालने से पहले पूरी KYC प्रक्रिया अनिवार्य होगी। इससे निवेश सुरक्षित होंगे और लेन-देन में देरी या गड़बड़ी की संभावना कम होगी। KYC सत्यापन में 2-3 दिन लग सकते हैं।

Mutual Fund: SEBI ने म्यूचुअल फंड निवेशकों के लिए बड़ा बदलाव किया है। अब नए फोलियो खोलने और पहली निवेश राशि डालने से पहले पूरी KYC प्रक्रिया पूरी होना अनिवार्य होगा। AMC पहले डॉक्यूमेंट चेक करके फोलियो KRA को भेजेगी, सत्यापन के बाद ही निवेशक राशि डाल सकेंगे। इससे निवेश सुरक्षित होंगे, लेन-देन सटीक होंगे और गड़बड़ी की संभावना कम होगी। निवेशक 14 नवंबर तक SEBI पोर्टल पर इस नए नियम पर सुझाव दे सकते हैं।

नया नियम और प्रक्रिया

अब नए नियम के तहत, किसी भी निवेशक द्वारा म्यूचुअल फंड में पहली राशि तभी डाली जा सकेगी, जब KYC रजिस्ट्रेशन एजेंसी (KRA) द्वारा अंतिम सत्यापन पूरा हो जाएगा। पहले, एसेट मैनेजमेंट कंपनी (AMC) अपने इंटरनल KYC चेक के आधार पर तुरंत निवेश स्वीकार कर लेती थी। इससे कभी-कभी बाद में KYC में गड़बड़ी होने पर निवेशकों को रिडेम्पशन, डिविडेंड या नोटिफिकेशन में देरी का सामना करना पड़ता था।

नई प्रक्रिया में AMC पहले सभी डॉक्यूमेंट और इंटरनल जांच पूरी करेगी। इसके बाद फोलियो KRA को भेजा जाएगा और KRA के सत्यापन के बाद ही निवेशक पहली राशि डाल पाएंगे। इस कदम से निवेशकों को यह सुनिश्चित करने में मदद मिलेगी कि उनका निवेश सुरक्षित और वैध है।

KYC पूरी नहीं होने पर प्रभाव

यदि किसी निवेशक ने KYC प्रक्रिया पूरी नहीं की है, तो वह अस्थायी रूप से नई निवेश राशि नहीं डाल पाएगा। इसके साथ ही रिडेम्पशन या डिविडेंड की प्रक्रिया में भी देरी होगी। AMC के लिए भी यह चुनौतीपूर्ण हो सकता है कि निवेशकों से संपर्क किया जाए और भुगतान समय पर किया जाए। नए नियम के अनुसार, सही समय पर और सही तरीके से निवेश की प्रक्रिया होगी, जिससे गलतियों की संभावना कम हो जाएगी।

विशेषज्ञों का कहना है कि शुरुआती दिनों में निवेशकों को थोड़ी देरी का सामना करना पड़ सकता है। KRA द्वारा सत्यापन में 2-3 दिन लग सकते हैं, लेकिन यह प्रक्रिया लंबी अवधि में निवेशकों और AMC दोनों के लिए फायदेमंद साबित होगी।

SEBI ने मांगी राय

SEBI ने इस नए नियम पर आम जनता और निवेशकों से सुझाव भी मांगे हैं। 14 नवंबर 2025 तक निवेशक और स्टेकहोल्डर्स SEBI के वेब पोर्टल पर अपनी राय साझा कर सकते हैं। AMC, KRA और अन्य एजेंटों को अपने सिस्टम और काम करने के तरीके को नए नियम के अनुसार अपडेट करना होगा। इसका उद्देश्य यह है कि नियम लागू होने के बाद सभी निवेश समय पर और सही तरीके से हो सकें।

निवेशकों के लिए बदलाव

नए नियम के तहत निवेशकों को यह सुनिश्चित करना होगा कि उनके सभी डॉक्यूमेंट सही और अपडेटेड हों। KYC प्रक्रिया को पूरा करने के बाद ही निवेश संभव होगा। इससे न केवल निवेशकों की सुरक्षा बढ़ेगी, बल्कि एसेट मैनेजमेंट कंपनियों के लिए भी निवेशकों से संबंधित लेन-देन में आसानी होगी।

AMC और बाजार पर असर

एसेट मैनेजमेंट कंपनियों को अपने सिस्टम में बदलाव करने होंगे। सभी नए फोलियो के लिए KYC सत्यापन अनिवार्य होगा। इससे AMC को निवेशकों की जानकारी सत्यापित करने और गलतियों से बचने में मदद मिलेगी। KRA और अन्य एजेंट भी नए नियम के अनुरूप अपने कामकाज में बदलाव करेंगे।

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