गुजरात ATS ने बेंगलुरु से शमा परवीन को अल-कायदा से जुड़े आरोप में पकड़ा। जांच में वह सोशल मीडिया के ज़रिए भारत विरोधी जहर फैला रही थी और आसिम मुनीर से वैचारिक रूप से जुड़ी थी।
Gujarat ATS: गुजरात एटीएस ने अल-कायदा के ऑनलाइन टेरर मॉड्यूल का पर्दाफाश करते हुए पांच संदिग्ध आतंकियों को गिरफ्तार किया है। इस गिरोह में शामिल एक महिला शमा परवीन को बेंगलुरु से पकड़ा गया है। शुरुआती जांच में सामने आया है कि शमा भारत विरोधी गतिविधियों को न केवल बढ़ावा दे रही थी बल्कि सोशल मीडिया के माध्यम से पाकिस्तान के आर्मी चीफ जनरल आसिम मुनीर से भारत पर हमले की अपील भी कर रही थी।
ऑपरेशन सिंदूर के दौरान भड़काऊ गतिविधियां
एटीएस के अनुसार शमा परवीन ऑपरेशन सिंदूर के दौरान लगातार भारत विरोधी पोस्ट कर रही थी। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर वह पाकिस्तान से भारत के खिलाफ 'खिलाफत परियोजना' को लागू करने की मांग कर रही थी। उसने खुले तौर पर भारत की संप्रभुता पर सवाल उठाते हुए हमले का समर्थन किया।
इंटरनेट मीडिया से जोड़ रही थी युवाओं को
शमा परवीन केवल भारत विरोधी पोस्ट ही नहीं कर रही थी, बल्कि वह युवाओं को कट्टरपंथी विचारधारा से जोड़ने का काम भी कर रही थी। वह अल-कायदा के भारतीय उपमहाद्वीप इकाई (AQIS) के लिए भर्ती अभियान चला रही थी। एटीएस को शमा की गतिविधियों से जुड़े कई डिजिटल साक्ष्य मिले हैं जो उसके चरमपंथी नेटवर्क को उजागर करते हैं।
झारखंड से बेंगलुरु तक का सफर
30 वर्षीय शमा परवीन मूल रूप से झारखंड की रहने वाली है। वह बेंगलुरु के हेब्बल इलाके में अपने भाई के साथ रह रही थी। यहीं से वह इंटरनेट मीडिया के जरिए भारत विरोधी एजेंडा फैला रही थी। जांच एजेंसियों के अनुसार, वह लंबे समय से निगरानी में थी और साक्ष्य मिलने के बाद 29 जुलाई को उसे गिरफ्तार किया गया।
सोशल मीडिया से मिला मुनीर कनेक्शन
गुजरात एटीएस ने जब शमा के सोशल मीडिया अकाउंट्स की जांच की, तो उसे कई ऐसे पोस्ट मिले जिसमें उसने पाकिस्तान आर्मी चीफ जनरल आसिम मुनीर के भाषण और वीडियो साझा किए थे। इनमें से कई वीडियो में हिंसात्मक और भारत विरोधी विचार थे। इससे साफ होता है कि शमा न केवल कट्टरपंथी विचारधारा की समर्थक थी, बल्कि पाकिस्तानी सैन्य नेतृत्व के सीधे प्रभाव में काम कर रही थी।
युवाओं को बनाया जा रहा था निशाना
जांच में यह भी सामने आया है कि शमा परवीन का मुख्य उद्देश्य भारतीय युवाओं को प्रभावित कर उन्हें आतंकी गतिविधियों के लिए तैयार करना था। वह खासतौर पर मुस्लिम युवाओं को 'जिहाद' के नाम पर गुमराह कर रही थी।
भारत की सुरक्षा के लिए गंभीर चुनौती
शमा परवीन द्वारा फैलाया जा रहा यह नेटवर्क भारत की आंतरिक सुरक्षा के लिए एक गंभीर चुनौती है। उसके सोशल मीडिया पोस्ट न केवल भारत विरोधी थे, बल्कि वे सीधे तौर पर आतंकवाद को बढ़ावा देने वाले थे। एटीएस ने उसे हिरासत में लेकर गहन पूछताछ शुरू कर दी है और उससे जुड़े अन्य लोगों की तलाश जारी है।