जम्मू-कश्मीर के पुंछ में भारी बारिश के चलते एक प्राथमिक स्कूल पर चट्टान गिरने से पांच साल के छात्र की मौत हो गई। चार छात्र और एक शिक्षक घायल हैं। प्रशासन ने राहत व जांच के आदेश दिए हैं।
Poonch School: जम्मू-कश्मीर के पुंछ जिले के भैंच-कलसियान इलाके में सोमवार को एक दर्दनाक हादसा हुआ। भारी बारिश के कारण पहाड़ से एक बड़ी चट्टान खिसककर एक सरकारी प्राथमिक स्कूल की इमारत पर गिर गई। इस हादसे में 5 साल के छात्र एहसान अली की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि चार अन्य छात्र और एक शिक्षक घायल हो गए।
बारिश के बाद चट्टान गिरने से हुआ हादसा
प्रशासन के मुताबिक रविवार रात से हो रही लगातार मूसलधार बारिश के कारण पहाड़ कमजोर हो गया था। सुबह जैसे ही स्कूल में कक्षाएं चल रही थीं, तभी एक विशाल चट्टान खिसकती हुई सीधे स्कूल की टिन की छत पर आ गिरी। छत को तोड़ते हुए वह सीधे कक्षा के अंदर जा घुसी। बच्चे उस समय पढ़ाई में व्यस्त थे। हादसा इतना तेज और अचानक हुआ कि बचाव का कोई मौका ही नहीं मिला।
मृतक और घायलों की पहचान
इस हादसे में जान गंवाने वाले छात्र की पहचान एहसान अली (5) के रूप में हुई है। चार अन्य घायल छात्रों में मोहम्मद सफीर (7), बिलाल फारूक (8), आफताब अहमद (7) और टोबिया कौसर (7) शामिल हैं। एक शिक्षक को भी हल्की चोटें आई हैं।
इलाज के लिए तुरंत भेजे गए अस्पताल
घायलों को तत्काल नजदीकी राजा सुखदेव सिंह जिला अस्पताल, पुंछ में भर्ती कराया गया। जिला उपायुक्त विकास कुंडल ने स्वयं अस्पताल पहुंचकर घायलों की स्थिति का जायजा लिया। उन्होंने डॉक्टरों को निर्देश दिए कि सभी को बेहतर चिकित्सा सुविधा प्रदान की जाए और किसी प्रकार की लापरवाही न हो।
उपराज्यपाल और पूर्व मुख्यमंत्री ने जताया दुख
हादसे की खबर मिलते ही जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने गहरी संवेदना व्यक्त की। उन्होंने सोशल मीडिया पर लिखा, "पुंछ के प्राइमरी स्कूल में चट्टान गिरने से 5 साल के बच्चे की मौत हृदय विदारक है। ईश्वर माता-पिता को यह दुख सहने की शक्ति दे। घायल बच्चों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करता हूं।"
पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने भी घटना पर दुख प्रकट करते हुए प्रशासन से जांच और घायलों के उचित इलाज की मांग की। उन्होंने कहा कि इस तरह के हादसों को रोका जाना चाहिए और सरकारी स्कूलों की इमारतों की सुरक्षा को लेकर विशेष ध्यान दिया जाना चाहिए।
मृतक परिवार को मुआवजा और राहत
घटना के बाद जिला प्रशासन ने फौरन राहत कार्य शुरू किया। रेड क्रॉस फंड से मृतक छात्र के परिजनों को 1 लाख रुपये और प्रत्येक घायल छात्र के परिवार को 50,000 रुपये की आर्थिक सहायता दी गई है। उपायुक्त विकास कुंडल ने आश्वासन दिया कि प्रशासन पीड़ित परिवारों के साथ हरसंभव सहयोग करेगा और यदि जरूरत पड़ी तो और भी मदद दी जाएगी।
इस घटना के बाद इलाके में सरकारी स्कूलों की सुरक्षा पर एक बार फिर सवाल खड़े हो गए हैं। ग्रामीण इलाकों में कई स्कूल ऐसे हैं जो पहाड़ों और ढलानों के पास बने हुए हैं। मॉनसून के दौरान इनमें भूस्खलन और चट्टान खिसकने का खतरा बना रहता है। स्थानीय लोगों ने प्रशासन से स्कूलों की स्थिति का नए सिरे से सर्वे करने और कमजोर इमारतों को सुरक्षित स्थानों पर स्थानांतरित करने की मांग की है।