ज्योतिष शास्त्र में चंद्र ग्रहण को अत्यंत प्रभावशाली और संवेदनशील समय माना गया है। यह समय केवल आध्यात्मिक दृष्टि से ही नहीं, बल्कि मानसिक, शारीरिक और आर्थिक दृष्टि से भी सावधानी का समय है। 8 सितंबर 2025 को लगने वाला यह चंद्र ग्रहण भारत समेत कई देशों में देखा जाएगा। ज्योतिषाचार्यों के अनुसार, ग्रहण के दौरान विशेष सावधानियाँ रखना आवश्यक है, क्योंकि इस समय राहु का प्रभाव अत्यधिक सक्रिय होता है और नकारात्मक शक्तियाँ अधिक प्रभावशाली रहती हैं।
चंद्र ग्रहण का समय और महत्व
इस वर्ष का अंतिम चंद्र ग्रहण 7 सितंबर देर रात 09:58 बजे से प्रारंभ होकर 8 सितंबर 01:26 बजे समाप्त होगा। इस दौरान सूतक काल भी लागू रहेगा। सूतक काल ग्रहण के शुभ और अशुभ प्रभावों से सुरक्षा के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण माना जाता है। इस समय किसी भी शुभ कार्य जैसे विवाह, यात्रा या व्यापारिक सौदे से परहेज करना चाहिए।
चंद्र ग्रहण के समय चंद्रमा पर राहु की दृष्टि और अन्य ग्रहों का प्रभाव अत्यधिक बढ़ जाता है। इस प्रभाव से मानसिक अस्थिरता, भावनात्मक उतार-चढ़ाव और नकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह अधिक होता है। ऐसे समय में ज्योतिष शास्त्र हमें बताता है कि विशेष रूप से वृषभ और कर्क राशि के जातक सतर्क रहें।
वृषभ राशि के जातकों के लिए सावधानियाँ
वृषभ राशि में चंद्र देव उच्च के होते हैं, इसलिए इस राशि के जातकों पर चंद्र ग्रहण का प्रभाव अधिक प्रत्यक्ष होता है। वर्तमान समय में राहु का दृष्टिकोन आपके चतुर्थ भाव पर है। इसका परिणाम यह हो सकता है कि आप मानसिक रूप से तनाव में रहें और निवेश संबंधी फैसले अस्थिर हो सकते हैं।
वृषभ राशि के लिए विशेष उपाय:
- निवेश और व्यापारिक निर्णय ग्रहण काल में न लें।
- किसी भी कार्य से पहले बड़ों या विशेषज्ञों की सलाह अवश्य लें।
- नकारात्मक स्थानों जैसे श्मशान, अस्पताल या विवादस्पद क्षेत्रों में जाने से बचें।
- घर से अनावश्यक बाहर निकलने से बचें।
- ग्रहण के समय शिव जी और चंद्र देव के मंत्रों का जाप करें।
- राहु के नकारात्मक प्रभाव को कम करने के लिए नियमित पूजा और दान करें।
इन उपायों का पालन करने से न केवल राहु के दुष्प्रभाव कम होंगे, बल्कि चंद्र और शुक्र देव की कृपा भी आपके ऊपर बनी रहेगी।
कर्क राशि के जातकों के लिए सावधानियाँ
कर्क राशि के जातकों के धन भाव में राहु का प्रभाव अधिक है। ग्रहण के समय भावनाओं में बहकर कोई भी निर्णय लेने से बचें। इस राशि के लोग अक्सर इस समय किसी पर भरोसा कर गलत निर्णय ले सकते हैं, जिससे आर्थिक नुकसान या विवाद उत्पन्न हो सकता है।
कर्क राशि के लिए विशेष उपाय:
- ग्रहण के समय किसी भी प्रकार के ऑनलाइन निवेश या वित्तीय निर्णय से बचें।
- पैसों का दुरुपयोग न करें और अनावश्यक खर्च से परहेज करें।
- झूठ बोलने, बहस करने या क्रोधित होने से बचें। आपकी वाणी कटु हो सकती है।
- शराब और तामसिक भोजन से दूर रहें।
- दोस्तों और सामाजिक मेल-जोल में संयम रखें, व्यर्थ के वाद-विवाद में न पड़ें।
- भगवान शिव के नामों का जप और प्रार्थना करें।
इन सावधानियों के पालन से राहु का नकारात्मक प्रभाव कम होगा और मानसिक शांति बनी रहेगी।
चंद्र ग्रहण में अन्य सावधानियाँ
सभी राशियों के जातक ग्रहण के दौरान कुछ सामान्य सावधानियाँ अपनाएँ:
- शुभ कार्यों से परहेज करें: विवाह, गृह प्रवेश, यात्रा या नए प्रोजेक्ट की शुरुआत न करें।
- धार्मिक कार्य करें: इस समय भगवान शिव, विष्णु या चंद्र देव की पूजा लाभकारी मानी जाती है।
- ध्यान और जप करें: मंत्र जाप, ध्यान और साधना से मानसिक शांति प्राप्त होती है।
- सावधानीपूर्वक व्यवहार: नकारात्मक स्थानों से दूर रहें और नकारात्मक ऊर्जा से बचें।
चंद्र ग्रहण एक संवेदनशील समय है, जिसमें मानसिक, शारीरिक और आर्थिक सावधानी अत्यंत आवश्यक है। वृषभ और कर्क राशि के जातकों को विशेष सतर्कता बरतनी चाहिए। मंत्र जाप, पूजा और दान से राहु के नकारात्मक प्रभाव कम होते हैं और मानसिक शांति बनी रहती है। इस दौरान शुभ कार्यों से परहेज करना लाभकारी रहेगा।