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गुमला में बड़ी सफलता: 5 लाख का इनामी नक्सली फिरोज अंसारी गिरफ्तार, भारी मात्रा में हथियार और गोला-बारूद बरामद

गुमला में बड़ी सफलता: 5 लाख का इनामी नक्सली फिरोज अंसारी गिरफ्तार, भारी मात्रा में हथियार और गोला-बारूद बरामद

झारखंड के गुमला जिले में नक्सलियों के खिलाफ चल रहे अभियान के तहत पुलिस को बड़ी कामयाबी मिली है। घाघरा जंगल में हुई मुठभेड़ के बाद पुलिस ने झारखंड जनमुक्ति परिषद (JJMP) के सब जोनल कमांडर और पांच लाख के इनामी नक्सली फिरोज अंसारी को धर दबोचा। गिरफ्तार नक्सली के पास से भारी मात्रा में हथियार, गोलियां और इलेक्ट्रॉनिक उपकरण बरामद किए गए हैं।

गुप्त सूचना पर की गई थी कार्रवाई

गुमला के एसपी हारिस बिन जमां ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि पुलिस को सूचना मिली थी कि बिशुनपुर थाना क्षेत्र के घाघरा जंगल में JJMP का सुप्रीमो रवींद्र यादव अपने हथियारबंद दस्ते के साथ मौजूद है और किसी बड़ी वारदात की तैयारी कर रहा है। इस इनपुट पर तुरंत कार्रवाई करते हुए एसडीपीओ सुरेश प्रसाद के नेतृत्व में एक विशेष टीम बनाई गई और सर्च ऑपरेशन शुरू किया गया।

जंगल में ऑपरेशन के दौरान पुलिस को कुछ संदिग्ध हथियारबंद लोग दिखाई दिए। पुलिस को देखते ही वे भागने लगे, लेकिन घेराबंदी कर एक व्यक्ति को पकड़ लिया गया। पूछताछ में उसकी पहचान फिरोज अंसारी (35 वर्ष), निवासी रूबेद गांव, जोबांग थाना, लोहरदगा के रूप में हुई। फिरोज अंसारी झारखंड जनमुक्ति परिषद का सब जोनल कमांडर है और उस पर पांच लाख रुपये का इनाम घोषित था।

भारी मात्रा में हथियार और कारतूस बरामद

गिरफ्तारी के बाद पुलिस ने उसके पास से एक 303 रायफल, 200 राउंड कारतूस, 7.62 एमएम के 150 राउंड, तीन स्मार्टफोन, दो कीपैड मोबाइल, दो डायरी, एक मोबाइल चार्जर, इंटरनेट राउटर और एक पिट्ठू बैग बरामद किया। अधिकारियों के मुताबिक, यदि समय रहते कार्रवाई न होती, तो नक्सली बड़ी घटना को अंजाम दे सकते थे।

पहले माओवादी संगठन से भी जुड़ा रहा है फिरोज

एसपी ने बताया कि फिरोज अंसारी पहले भाकपा माओवादी संगठन से भी जुड़ा रह चुका है और वह दो साल तक जेल की सजा काट चुका है। उसके खिलाफ विभिन्न थानों में कुल 11 आपराधिक मामले दर्ज हैं। गिरफ्तार करने वाली टीम में सर्कल इंस्पेक्टर विनय कुमार, बिशुनपुर थाना प्रभारी राकेश कुमार सिंह, घाघरा थाना प्रभारी पुनीत मिंज, एसआई तरुण कुमार और मो. जहांगीर जैसे अधिकारी शामिल थे।

गौरतलब है कि 18 जून को इसी संगठन के एक अन्य सब जोनल कमांडर बैजनाथ सिंह ने लातेहार पुलिस के समक्ष आत्मसमर्पण किया था। पुलिस अब JJMP के अन्य सदस्यों की तलाश में अभियान तेज कर रही है।

गुमला पुलिस की यह कार्रवाई झारखंड में सक्रिय नक्सली संगठनों के नेटवर्क को कमजोर करने की दिशा में एक बड़ी सफलता मानी जा रही है। फिलहाल, इलाके में सुरक्षाबलों का सर्च ऑपरेशन जारी है और पुलिस अन्य फरार नक्सलियों की तलाश में जुटी है।

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